Title – क्या लिखूँ कैसे लिखूँ Lyrics
Movie/Album- मान अभिमान Lyrics-1980
Music By- रविन्द्र जैन
Lyrics- रविन्द्र जैन
Singer(s)- हेमलता
क्या लिखूँ कैसे लिखूँ
लिखने के भी क़ाबिल नहीं
यूँ समझ लीजे कि मैं पत्थर हूँ
मुझ में दिल नहीं, दिल नहीं
क्या लिखूँ कैसे लिखूँ…
हर क़दम पर आपने समझा सही मैंने ग़लत
अब सफाई पेश कर के भी
कोई हासिल नहीं, हासिल नहीं
यूँ समझ लीजे कि मैं…
इस तरह बढ़ती गयी कुछ रास्ते की उलझनें
सामने मंज़िल थी, मैं कहती रही
मंज़िल नहीं, मंज़िल नहीं
क्या लिखूँ कैसे लिखूँ…
मैं ये मानूँ या न मानूँ, दिल मेरा कहने लगा
अब मेरी नज़दीकियों में
दूरियाँ शामिल नहीं, शामिल नहीं
क्या लिखूँ कैसे लिखूँ…
जिन किलों में बंद थी मैं
मिट गए वो टूट कर
अब कोई बंदिश नहीं, पहरा नहीं
मुश्किल नहीं, मुश्किल नहीं